
राज्यसभा चुनाव में सातवें उम्मीदवार को लेकर फंसा पेंच, तीसरे उम्मीदवार के लिए बीजेपी के पास 22 वोट और दूसरे के लिए शिवसेना के पास 14 वोट
Rokthok Lekhani
मुंबई: महाराष्ट्र में राज्यसभा चुनाव एक नए मोड़ पर पहुंच चुका है। छह सीटों के लिए सात उम्मीदवार मैदान में हैं। ऐसे में 22 साल बाद मतदान की स्थिति बन रही है। बीजेपी ने अपना तीसरा उम्मीदवार उतारकर बाकी दलों का गणित बिगाड़ दिया है। बीजेपी जोर लगा रही है कि उसके तीन उम्मीदवार राज्यसभा जाएं। उसके पास अपनी पार्टी के तीसरे उम्मीदवार के लिए 22 वोट हैं। वहीं, शिवसेना के दूसरे उम्मीदवार के लिए 14 वोट हैं। बीजेपी के पास सात निर्दलियों समेत 113 विधायकों का समर्थन है।
इस तरह तीसरे उम्मीदवार के लिए उसके पास कुल वोटों की संख्या 29 हो जाती है। वहीं, सत्ताधारी महाविकास अघाड़ी 169 विधायकों के समर्थन का दावा करती है। इसमें शिवसेना, एनसीपी और कांग्रेस को मिलाकर 152 विधायक हैं। आठ निर्दलीय और आठ अन्य छोटी पार्टियों के विधायक शामिल हैं। निर्दलीय और छोटी पार्टियों को छोड़कर शिवसेना उम्मीदवार के लिए 27 अतिरिक्त वोट रहेंगे। अगर निर्दलीय और छोटे दलों ने चुनाव के दौरान महाविकास आघाडी के पक्ष में वोट दिया, तो ये संख्या 42 पहुंच जाएगी।
ऐसे में शिवसेना का उम्मीदवार आसानी से जीत जाएगा। अगर बीजेपी कुछ निर्दलीय और छोटे दलों के विधायकों को तोड़ने में सफल रही, तो मुकाबला रोचक हो सकता है। चुनाव से पहले बीजेपी और शिवसेना दोनों अपने सभी उम्मीदवारों के जीतने का दावा कर रही हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की छत्रछाया में देवेंद्र फडणवीस दूसरी बार खतरा उठाने के लिए तैयार हैं। इससे पहले उन्होंने अजित पवार के साथ शपथ लेकर खतरा उठाया था, लेकिन तब उन्हें मुंह की खानी पड़ी थी।
रणनीतिकार कहते हैं कि इस बार फडणवीस पूरी तैयारी के साथ मैदान में उतरे हैं, इसलिए उन्हें चित करना इस बार शिवसेना के लिए आसान नहीं होगा। दिल्ली में बैठे बीजेपी के नेताओं को फडणवीस ने भरोसा दिलाया है कि वे तीसरी सीट जीत कर दिखाएंगे। फडणवीस के आत्मविश्वास से शिवसेना और कांग्रेस के पसीने छूट रहे हैं। शिवसेना ने तो अभी से ही बीजेपी पर खरीद-फरोख्त का आरोप लगाया है।
महाराष्ट्र में राज्यसभा की छह सीटों के लिए सात उम्मीदवार चुनाव मैदान में जोर आजमा रहे हैं। नाम वापसी का दिन बीत जाने पर अब मुकाबला तय है। हालांकि मतदान टालने के लिए महाराष्ट्र की महा विकास आघाडी ने खूब कोशिश की, लेकिन बीजेपी ने उनकी बात नहीं मानी। महाविकास आघाडी ने बीजेपी से यह भी कहा कि आने वाले विधानपरिषद चुनाव में वे उनकी मदद करेंगे। इस पर महाराष्ट्र बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष चंद्रकांत पाटील ने कहा, ‘बीजेपी एक राष्ट्रीय पार्टी है और उसके लिए राज्यसभा महत्वपूर्ण है।
हमारी दावेदारी चुनावी गणित पर आधारित है।’ शिवसेना के उम्मीदवार और पार्टी प्रवक्ता संजय राउत ने कहा, ‘बीजेपी चाहे कितना भी पैसा खर्च कर ले, लेकिन जीत तो हमारे उम्मीदवार की ही होगी।’ मतदान रोकने के लिए शुक्रवार सुबह आघाडी सरकार के मंत्रियों छगन भुजबल, सुनील केदार, सतेज पाटील और शिवसेना के अनिल देसाई ने बीजेपी नेता देवेंद्र फडणवीस से उनके आवास पर करीब एक घंटे तक चर्चा की। मगर यह चर्चा नाकाम रही। फडणवीस ने धनंजय महाडिक का नाम वापस लेने से साफ मना कर दिया।
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