यूक्रेन के इस इलाके में मंडरा रहा मौत का संकट... क्या करेंगे पुतिन?

The crisis of death is looming in this area of Ukraine... what will Putin do?

यूक्रेन के इस इलाके में मंडरा रहा मौत का संकट... क्या करेंगे पुतिन?

रूसी राष्ट्रपति पुतिन द्वारा यूक्रेन के कई इलाकों पर कब्जा किए जाने के बाद से यूक्रेनी सेना आक्रामक रुख अपना रही है। युद्ध शुरू होने के बाद से यूक्रेनी बलों ने देश के दक्षिण में अपनी सबसे बड़ी सफलता हासिल की है।  यूक्रेनी सेना ने रूसी डिफेंस लाइन को भेदते हुए नीप्रो नदी के किनारे तेजी से बढ़त हासिल की है।

यूक्रेन : रूसी राष्ट्रपति पुतिन द्वारा यूक्रेन के कई इलाकों पर कब्जा किए जाने के बाद से यूक्रेनी सेना आक्रामक रुख अपना रही है। युद्ध शुरू होने के बाद से यूक्रेनी बलों ने देश के दक्षिण में अपनी सबसे बड़ी सफलता हासिल की है।  यूक्रेनी सेना ने रूसी डिफेंस लाइन को भेदते हुए नीप्रो नदी के किनारे तेजी से बढ़त हासिल की है।

यूक्रेनी सेना की इस बढ़त से हजारों रूसी जवानों पर भूख से और हथियारों की कमी से मरने का संकट मंडरा रहा है। दरअसल यूक्रेनी सेना ने जिस नीप्रो नदी के किनारे बढ़त हासिल की है उसी रास्ते से रूसी सैनिकों के लिए सप्लाई आती है। अब रूसी सैनिकों पर सप्लाई का संकट मंडराने लगा है। 

यूक्रेन ने भले ही अपनी बढ़त की कोई आधिकारिक पुष्टि नहीं की, लेकिन रूसी सूत्रों ने स्वीकार किया कि एक यूक्रेनी टैंक नदी के पश्चिमी तट के साथ दर्जनों किलोमीटर आगे बढ़ गया है। उन्होंने रास्ते में कई गांवों पर कब्जा कर लिया है। यूक्रेनी सेना के लिए यह एक नई सफलता है।

इससे पहले उसने देश के पूर्वी हिस्सों में भी कई जगहों से रूसी सेना को खदेड़ने का दावा किया था। पुतिन द्वारा यूक्रेन के चार हिस्सों के रूस में विलय को मंजूरी देने के साथ ही युद्ध के खतरनाक स्तर पर पहुंचने की आशंका बढ़ गई है। पुतिन ने परमाणु युद्ध तक की धमकी दी है। इससे यूक्रेन भी नाटो की सदस्यता की प्रक्रिया को तेज करने का औपचारिक आवेदन करने को प्रोत्साहित हुआ है।

रूस ने यूक्रेन के खेरसॉन प्रांत के कई इलाकों को अपने कब्जे में लिया हुआ है। रूस ने इस इलाके में व्लादिमीर साल्डो नाम के एक नेता को प्रमुख के तौर पर घोषित किया हुआ है। व्लादिमीर साल्डो ने रूसी सरकारी टेलीविजन को बताया, "जानकारी यह है कि स्थिति बेहद तनावपूर्ण है।

सीधे शब्दों में कहूं तो हां, उन्हें (यूक्रेन) असल में में सफलताएं मिलीं हैं। एक बस्ती है जिसे दुडचानी कहा जाता है। यब ठीक नीप्रो नदी के किनारे है। यही वह क्षेत्र है जहां उन्हें एक सफलता मिली है। ऐसी बस्तियां हैं जिन पर यूक्रेनी बलों का कब्जा है।" 

यूक्रेनी सैनिकों को देश के दक्षिणी खेरसॉन क्षेत्र में नई बढ़त मिली है और सोमवार को भी उनका यह अभियान जारी रहा, जो मॉस्को के लिए असहज स्थिति पैदा कर रहा है। कीव के अधिकारियों और विदेशी पर्यवेक्षकों ने यह जानकारी दी। उल्लेखनीय है कि खेरसॉन वह क्षेत्र है जिसका रूस विलय करना चाहता है।

यूक्रेन के लिए खेरसॉन मुश्किल युद्ध का मैदान साबित हुआ है और यहां, पिछले महीने देश के दूसरे सबसे बड़े शहर खारकीव पर फतह हासिल करने के मुकाबले उसे अपेक्षाकृत धीरे-धीरे सफलता मिल रही है। खेरसॉन उन चार इलाकों में शामिल है जिन्हें क्रेमलिन प्रायोजित ‘जनमत संग्रह’ के बाद रूस ने पिछले सप्ताह मॉस्को के साथ विलय करने का ऐलान किया था।

क्रेमलिन (रूसी राष्ट्रपति कार्यालय) नियंत्रित संसद के निचले सदन ने सोमवार को विलय को लेकर की गई संधि की पुष्टि कर दी। इस संधि को मंजूरी देने लिए मंगलवार को उच्च सदन में पेश किया जाएगा। वहीं यूक्रेन के मीडिया ने अपने देश के सैनिकों की तस्वीर प्रसारित की है जिसमें वे ख्रीश्चेनिवका गांव में राष्ट्रीय ध्वज फहराते नजर आते हैं।

यह गांव उसी खेरसॉन इलाके में स्थित है जहां पर रूसी सुरक्षा पंक्ति मौजूद थी। कीव गर्मियों से ही लगातार जवाबी कार्रवाई करते हुए रूस के आपूर्ति मार्ग को निशाना बना रहा है। यूक्रेन रूस के कब्जे वाले निपर नदी क्षेत्र के पश्चिमी हिस्सों में बढ़त बना रहा है। यूक्रेन की जवाबी कार्रवाई सफल होने के बावजूद पूर्वोत्तर के मुकाबले दक्षिण में धीमी प्रगति हो रही है।

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