Rokthok Lekhani
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मुंबई : राज्य सरकार द्वारा दुकानों पर लगे बोर्ड मराठी होना अनिवार्य किए जाने के बाद मुंबई मनपा ने सभी दुकानदरों अथवा अन्य कामर्शियल उपयोग करने वालो को 31 मई तक मराठी में बोर्ड लगाना अनिवार्य किया है। होटल व्यवसाई ने 31 मई तक सभी दुकानों होटल और अन्य कमर्शियल आदि ने मनपा से लिखित गुहार लगाई है कि उन्हें और मुद्दत दी जाए।
बता दे कि राज्य सरकार ने पिछले दिनों कानून बनाते हुए राज्य की सभी दुकानों होटल और अन्य कमर्शियल के साइन बोर्ड पर बड़े आच्छरो में मराठी में नाम फलक अनिवार्य किया है। मराठी में बड़ा नाम लिखे जाने के बाद अन्य लोगो को जानकारी के लिए दूसरे भाषाओं में नाम लिखा जाए।राज्य सरकार के निर्देश के बाद मुंबई मनपा ने कानून बनाया और सभी दुकानदारों को निर्देश दिया कि 31 मई तक बोर्ड पर लिखे जाने वाले साइन बोर्ड मराठी में होना चाहिए उसके बाद छोटे अच्छरो में दूसरी भाषाओं में लिखा जाए ।
मनपा ने सर्कुलर निकल कर 31 मई तक मराठी में नाम फलक अनिवार्य किया । मनपा की नोटिस पर होटल एंड रेष्टारेंट आसोशिएसन ने मनपा प्रशासन से और मुद्दत देने की गुहार लगाई है। बार एंड रेस्टारेंट के साइन बोर्ड पर किसी महान व्यक्ति के नाम अथवा किसी गढ़ किल्ला का भी नाम दिया जाना चाहिए । इंडियन होटल एंड रेस्टारेंट आसोसिएसन संस्था ने कहा है कि बार एंड रेस्टारेंट को नाम बदलने के लिए 30 जून तक की समय सीमा दी गई थी लेकिन दुकानों साहित्य अन्य कामर्शियल को 31 मई तक ही मुद्दत दी गई है।
आहार के अध्यक्ष शिवानंद शेट्टी ने इस आमूलचूल बदलाव के लिए मनपा से 6 महीने का समय दिए जाने की गुहार लगाई है। शेट्टी ने कहा कि फिलहाल छुट्टी का मौसम चल रहा है । बोर्ड बनाने वाले कर्मचारी गांव गए हुए है इसी तरह अगला चार महीना बारिश का होने के कारण सभी का नाम फलक एक साथ बदल पाना संभव नहीं है जिसके चलते 6 महीने का समय दिए जाने की गुहार लगाई है।
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