Rokthok Lekhani
Follow @rokthoklekhani
Click to Read Today’s E Newspaper
मुंबई : केंद्रीय गृह मंत्रालय ने महाराष्ट्र सरकार की उस अर्जी पर आपत्ति जताई है जिसमें उसने कथित फोन टैपिंग के लिए दर्ज मामले से संबंधित कुछ दस्तावेजों की मांग की है और कहा कि यह ‘अस्पष्ट और अपुष्ट’ है।
महाराष्ट्र गुप्तचर विभाग की शिकायत पर मुंबई में बीकेसी साइबर पुलिस थाने में मामला दर्ज किया गया है। गुप्तचर विभाग का आरोप है कि अज्ञात व्यक्तियों ने अवैध तरीके से फोन टैप किए और चुनिन्दा गोपनीय दस्तावेज़ लीक किए।
कथित फोन टैपिंग भारतीय पुलिस सेवा (आईपीएस) की अधिकारी रश्मि शुक्ला गुप्तचर विभाग के कार्यकाल के दौरान हुई थी। इसे लेकर विवाद हो गया और सत्तारूढ़ गठबंधन में शामिल दलों ने आरोप लगाया कि शुक्ला ने बिना इजाजत के फोन टैप किए।
अधिवक्ता श्रीराम सीरसत के जरिए शुक्रवार को दाखिल अपने जवाब में केंद्रीय गृह मंत्रालय ने कहा कि अक्टूबर में मेट्रोपोलिटन अदालत में दाखिल महाराष्ट्र सरकार का आवेदन यह स्पष्ट करने में नाकाम रहा है कि उसे कौन सा दस्तावेज़ चाहिए और किससे चाहिए। गृह मंत्रालय ने यह आवेदन रद्द करने का आग्रह किया है।
इस मामले में 18 दिसंबर को सुनवाई होने की उम्मीद है।
इससे पहले, रश्मि शुक्ला ने उच्च न्यायालय को सूचित किया था कि चुनिन्दा फोन नंबर टैप करने की अनुमति महाराष्ट्र सरकार ने दी थी ताकि पुलिस तबादलों और तैनाती में भ्रष्टाचार की शिकायतों की सत्यता का पता चल सके।